Tuesday, July 1, 2025
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हार्वर्ड को 72 घंटे में माननी होंगी ये 6 शर्तें, तभी विदेशी छात्रों को मिलेगा रहने का मौका

विदेशी छात्रों के लिए मुश्किल समय

हार्वर्ड यूनिवर्सिटी में पढ़ रहे भारतीय और अन्य विदेशी छात्रों के सामने अब एक गंभीर संकट खड़ा हो गया है। ट्रंप प्रशासन ने यूनिवर्सिटी की Student and Exchange Visitor Program (SEVP) सर्टिफिकेशन रद्द कर दी है, जिससे अब हार्वर्ड F-1 और J-1 वीज़ा पर नए विदेशी छात्रों को नामांकित नहीं कर सकती।

इस निर्णय से लगभग 6,800 विदेशी छात्रों का भविष्य अधर में लटक गया है, जिनमें लगभग 800 छात्र भारत से हैं। हालांकि, प्रशासन ने एक मौका देते हुए 72 घंटे की मोहलत दी है, जिसमें हार्वर्ड यूनिवर्सिटी को 6 सख्त शर्तों का पालन करना होगा।

छात्रों के पास सिर्फ दो विकल्प

  1. किसी अन्य SEVP-सर्टिफाइड यूनिवर्सिटी में प्रवेश लेना

  2. या अमेरिका छोड़ना, क्योंकि अब उनके पास कानूनी रूप से वहां रहने का आधार नहीं है

🕒 हार्वर्ड के सामने ट्रंप प्रशासन की 6 शर्तें

ट्रंप प्रशासन ने हार्वर्ड से कुछ विशेष रिकॉर्ड्स और जानकारी मांगी है। यदि यूनिवर्सिटी इन शर्तों का पालन करती है, तभी विदेशी छात्रों के नामांकन पर लगी रोक हटाई जा सकती है।

1. अवैध गतिविधियों से जुड़े सभी रिकॉर्ड्स

पिछले पांच वर्षों में किसी भी गैर-प्रवासी छात्र द्वारा अवैध गतिविधियों से संबंधित सभी आधिकारिक और अनौपचारिक रिकॉर्ड्स — जिसमें इलेक्ट्रॉनिक डेटा, ऑडियो या वीडियो फुटेज भी शामिल हैं — प्रस्तुत करने होंगे।

2. खतरनाक या हिंसक गतिविधियों के रिकॉर्ड्स

अगर किसी विदेशी छात्र ने ऑन-कैंपस या ऑफ-कैंपस किसी भी प्रकार की हिंसक या खतरनाक गतिविधि की हो, तो उससे जुड़े सभी रिकॉर्ड्स भी देने होंगे।

3. धमकी देने के मामले

किसी छात्र द्वारा दूसरे छात्रों या यूनिवर्सिटी स्टाफ को दी गई धमकियों से जुड़े सारे प्रमाण, वीडियो, ऑडियो और दस्तावेज साझा करने होंगे।

4. अधिकारों के उल्लंघन से संबंधित रिकॉर्ड्स

अगर किसी विदेशी छात्र ने किसी और छात्र या स्टाफ के अधिकारों का हनन किया है, तो उस पर आधारित सभी दस्तावेज प्रस्तुत करने होंगे।

5. अनुशासनात्मक कार्रवाइयों का पूरा ब्यौरा

पिछले 5 सालों में हर उस विदेशी छात्र के खिलाफ की गई अनुशासनात्मक कार्रवाई का पूरा विवरण देना होगा।

6. विरोध-प्रदर्शनों की फुटेज

पिछले पांच सालों में हार्वर्ड परिसर में किसी भी विरोध प्रदर्शन में शामिल किसी विदेशी छात्र से जुड़ी सभी वीडियो या ऑडियो फुटेज देनी होंगी।

🧭 क्या होगा इन शर्तों के बाद?

यदि हार्वर्ड यूनिवर्सिटी इन सभी शर्तों को 72 घंटों के भीतर पूरा कर देती है, तो SEVP सर्टिफिकेशन की बहाली संभव हो सकती है और विदेशी छात्रों को अमेरिका में रुकने की इजाजत मिल सकती है।

अन्यथा, हजारों छात्रों को मजबूरन अमेरिका छोड़ना पड़ सकता है, जिससे न सिर्फ उनका शैक्षणिक करियर बल्कि वर्षों की मेहनत पर भी असर पड़ेगा।

अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs)

Q1: क्या हार्वर्ड अब नए विदेशी छात्रों को नामांकित कर सकती है?
नहीं, जब तक वह DHS की 6 शर्तें पूरी नहीं करती।

Q2: क्या यह निर्णय केवल हार्वर्ड पर लागू होता है?
फिलहाल यह निर्णय हार्वर्ड पर केंद्रित है, लेकिन अन्य संस्थानों पर भी असर पड़ सकता है।

Q3: क्या भारतीय छात्रों को भारत लौटना पड़ेगा?
अगर शर्तें पूरी नहीं होतीं और दूसरे कॉलेज में प्रवेश नहीं मिलता, तो हां।

Q4: क्या ये नियम अस्थायी हैं?
अभी के लिए, 72 घंटे की मोहलत दी गई है। आगे की स्थिति DHS के निर्णय पर निर्भर करेगी।

Q5: क्या यूनिवर्सिटी ने जवाब दिया है?
फिलहाल हार्वर्ड ने आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं दी है, लेकिन बातचीत जारी है।

Q6: क्या अन्य विश्वविद्यालयों को भी ऐसी चेतावनी मिली है?
इस बारे में फिलहाल कोई सार्वजनिक जानकारी नहीं है।

निष्कर्ष: क्या विदेशी छात्रों को राहत मिलेगी?

यह समय विदेशी छात्रों के लिए बहुत ही चुनौतीपूर्ण है। हालांकि, यह 72 घंटे की खिड़की उनके लिए एक उम्मीद की किरण है। अगर हार्वर्ड प्रशासन पारदर्शिता और तत्परता दिखाता है, तो यह संकट टल सकता है। सभी की निगाहें अब हार्वर्ड के अगले कदम पर टिकी हैं।


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आप क्या सोचते हैं — क्या हार्वर्ड इन शर्तों को मानेगा? नीचे कमेंट करके बताएं।

ABHISHEK KUMAR ABHAY
ABHISHEK KUMAR ABHAY
I’m Abhishek Kumar Abhay, a dedicated writer specializing in entertainment, national news, and global issues, with a keen focus on international relations and economic trends. Through my in-depth articles, I provide readers with sharp insights and current developments, delivering clarity and perspective on today’s most pressing topics.
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