नई दिल्ली:
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सांसद निशिकांत दुबे ने लोकसभा अध्यक्ष से अनुरोध किया है कि विपक्ष के नेता राहुल गांधी के खिलाफ विशेषाधिकार हनन प्रस्ताव लाया जाए। यह विवाद तब उठा जब उन्होंने संसद के पटल पर दावा किया कि चीनी सैनिक भारतीय भूभाग पर मौजूद हैं। इस बयान से संसद में हंगामा मच गया, जिसके बाद संसदीय कार्य मंत्री किरण रिजिजू ने कांग्रेस नेता पर झूठ फैलाने का आरोप लगाया।
श्री दुबे ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला को लिखे अपने पत्र में कहा कि राहुल गांधी ने न केवल ऐतिहासिक तथ्यों को विकृत किया, बल्कि भारत की गरिमा को ठेस पहुंचाने की कोशिश भी की। उनके बयान से राष्ट्र की प्रतिष्ठा को ठेस पहुंची है, जो स्वीकार्य नहीं है।
राहुल गांधी ने सरकार पर साधा तीखा निशाना
बजट सत्र के दौरान राष्ट्रपति के अभिभाषण पर जवाब देते हुए, राहुल गांधी ने मोदी सरकार पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि सरकार ‘मेक इन इंडिया’ अभियान को मजबूत करने में असफल रही है, जिससे देश के निर्माण क्षेत्र को नुकसान हुआ। इसी असफलता के कारण चीन को भारतीय भूमि पर कब्जा करने का अवसर मिला, उन्होंने यह भी दावा किया।
किरण रिजिजू ने किया पलटवार
श्री रिजिजू ने हस्तक्षेप करते हुए कांग्रेस नेता पर फर्जी कथाएं गढ़ने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, “हम उन्हें याद दिलाना चाहेंगे कि इस प्रकार की निराधार और भ्रामक भाषा का बार-बार उपयोग नहीं किया जाना चाहिए। इससे संसदीय परंपराओं की गरिमा प्रभावित होती है।” उन्होंने बाद में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला से मुलाकात कर राहुल गांधी से अपने दावे के समर्थन में प्रमाण प्रस्तुत करने की मांग की।
बीजेपी सांसदों की रणनीति
सूत्रों के अनुसार, अगर राहुल गांधी अपने दावे का कोई प्रमाण नहीं देते हैं, तो भाजपा सांसद उनके खिलाफ विशेषाधिकार हनन का औपचारिक नोटिस लाने पर विचार कर रहे हैं।
विशेषाधिकार हनन नोटिस एक संवैधानिक उपकरण है, जिसका उपयोग उन सदस्यों के खिलाफ किया जा सकता है, जो संसद में अपने अधिकारों का दुरुपयोग करते हैं या गलत जानकारी प्रस्तुत करते हैं।
राहुल गांधी ने रोजगार और चीन के मुद्दे उठाए
अपने भाषण में श्री गांधी ने बेरोजगारी का मुद्दा उठाते हुए कहा कि भारत ने उत्पादन क्षेत्र को चीन के हवाले कर दिया है। उन्होंने दावा किया कि बीजिंग ने हमारे 4,000 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र पर कब्जा कर रखा है, जबकि सरकार लगातार यह कह रही है कि कोई भी भूमि नहीं खोई गई।
“चीन हमारी जमीन के अंदर इसलिए है क्योंकि ‘मेक इन इंडिया’ पूरी तरह से विफल हो गया है। भारत अब उत्पादन करना बंद कर रहा है और मुझे डर है कि यह औद्योगिक क्रांति भी चीन के हाथों में चली जाएगी,” श्री गांधी ने कहा।
रिजिजू का करारा जवाब
श्री रिजिजू ने इस दावे को भी खारिज कर दिया और कहा कि दो देशों के बीच संबंधों पर इस तरह के बेबुनियाद आरोप नहीं लगाए जा सकते।
विदेश मंत्री एस. जयशंकर का पलटवार
राहुल गांधी ने अपने भाषण में यह भी आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विदेश मंत्री एस. जयशंकर को कई बार अमेरिका भेजा ताकि वह राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के शपथ ग्रहण समारोह में पीएम के लिए आमंत्रण हासिल कर सकें।
हालांकि, विदेश मंत्री जयशंकर, जो राज्यसभा सदस्य भी हैं, ने इन दावों को पूरी तरह झूठा और भ्रामक करार दिया। उन्होंने कहा, “किसी भी स्तर पर प्रधानमंत्री के निमंत्रण पर चर्चा नहीं हुई थी। यह सर्वविदित है कि हमारे प्रधानमंत्री इस प्रकार के आयोजनों में शामिल नहीं होते। आम तौर पर, भारत की ओर से ऐसे कार्यक्रमों में विशेष दूत भेजे जाते हैं।”
निष्कर्ष
इस पूरे घटनाक्रम से स्पष्ट है कि संसद में राहुल गांधी और भाजपा के बीच तीखी तकरार जारी है। भाजपा यह सुनिश्चित करना चाहती है कि राहुल गांधी अपने बयानों का प्रमाण दें या फिर विशेषाधिकार हनन का सामना करें। वहीं, कांग्रेस नेता ने भी सरकार को रोजगार, चीन और औद्योगिक नीतियों के मुद्दे पर घेरने की पूरी कोशिश की। अब देखना यह होगा कि लोकसभा अध्यक्ष इस मामले में क्या निर्णय लेते हैं।